Sunday, 22 September

शहडोल। राजेन्द्रा कॉलोनी निवासी कालरी एक कर्मचारी मिश्रा उर्फ गौतम ने बीते बुधवार को ड्यूटी के दौरान खदान से बाहर जाकर एक जबरदस्त एक्सीडेण्ट कर दिया। सूत्रों पता चला है कि जिस दौरान कथित कर्मचारी अरुण गौतम उर्फ अरुण मिश्रा को खदान के अन्दर होना चाहिए था, उस समय वह न केवल खदान के बाहर बल्कि बंगवार रोड पर नीलकंठ मंदिर के पास सड़क पर तेज गाड़ी दौड़ा रहा था। यह एक तरह का हिट एण्ड रन का मामला ही कहा जाएगा। इधर कॉलरी के कई कर्मचारियों ने बताया कि इस कर्मचारी को जूनियर फोरमेन है हमेशा किसी न किसी कारण से विवादों में रहता है।

इस बारे में पुलिस को जैसे ही पता चला तो वह घटना स्थल पर पहुंची और वहां पड़ी गाड़ी की नंबर प्लेट को अपने कब्जे में ले लिया। बताते हैं कि कभी यूनियन की तो कभी बीमा, आरडी की धौंस के दम पर कथित मिश्रा बनाम गौतम पहले भी कई तरह की घटनाओं में लिप्त रह चुका है। इसको किसने और क्यों संरक्षण दिया है यह तो जांच का विषय है लेकिन बड़ा सवाल यह है कि कॉलरी प्रबंधन क्या इस बात की जांच कराएगा कि कैसे ड्यूटी में जिस वक्त उसे पचासों फीट नीचे खदान में होना था, सड़क पर कार दौड़ा रहा था।

कॉलरी में श्रम संघ के नाम पर हमेशा सीना तान कर घूमने वाले इस कर्मचारी की विवादों से गहरा नाता है। कहा तक यहां तक जाता है कि खाने के बाद पीने के नाम कई बोतलें रोजाना खलास कर देने वाले इस कर्मचारी पर सख्ती नहीं बरती गई तो भविष्य में यह और भी कई वारदातों को जन्म दे सकता है। कल दोपहर दो बजे से ढ़ाई बजे के बीच इस कथित श्रमिक नेता बनाम बीमा, आरडी एजेण्ट ने कॉलरी के ही दूसरे कर्मचारी को ड्यूटी जाते वक्त सड़क पर पीछे से ठोंक दिया जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया।

घायल की हालत को गंभीर देख उसे तत्काल अपोलो के लिए रिफर कर दिया गया है। घटनास्थल पर मौजूद लोगों ने बताया कि जवाहर टोकन नंबर 454 को मल्टीपल इंज्योरी हुई है और वह ठोकर लगते ही बेहोश हो गया। गनीमत रही कि ठोकर लगने के बाद जवाहर टोकन नंबर 454 सड़क के किनारे जा फिका यदि दुर्भाग्यवश चके के नीचे आ जाता तो जान पर भी मुश्किल पड़ सकती थी।

पता चला है कि जवाहर टोकन नंबर 454 बुरी तरह से गंभीर है जो किसी भी तरह के बयान देने की स्थिति में नहीं है। इधर पुलिस पूरे मामले की पतासाजी कर रही है। इस बारे में पुलिस पूरी तत्परता से आरोपी की पतासाजी कर कार्यवाही में जुट गई है। हिट एण्ड रन के चलते कार की नंबर प्लेट भी घटना स्थल पर गिर गई जिस आधार पर पुलिस कार्यवाही में जुट गई है। अब देखना है कि रसूख के आगे यह मामला कितनी गंभीरता से लिया जाता है और कब तक आरोपी पर कार्रवाई होती है?

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