शिवहर/पटना।
शिवहर जिले के हरनाही गांव के प्राथमिक विद्यालय में मध्यान्ह भोजन में अनियमितता को लेकर छात्रों और अभिभावकों का गुस्सा फूट पड़ा। शनिवार को छोटे-छोटे छात्र-छात्राएं हाथ में थाली लेकर पंचायत भवन पहुंचे और स्थानीय मुखिया खुशबू कुमारी और उनके पति प्रतिनिधि अविनाश रावत से शिकायत की।
छात्रों ने आरोप लगाया कि स्कूल में मिलने वाली खिचड़ी में अक्सर कीड़े पाए जाते हैं। उनकी शिकायतों को स्कूल प्रशासन ने लगातार अनसुना कर दिया, जिससे तंग आकर यह कदम उठाया गया। छात्रों ने मुखिया को बताया कि खिचड़ी में कीड़े मिलने की शिकायत जब प्रधान शिक्षिका चित्रलेखा देवी से की जाती है तो वह कहती हैं कि जहां जाना है जाओ, नहीं तो जो मिल रहा है, खाओ। बच्चों ने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उन्हें हर दिन खराब और अशुद्ध खाना खाने को मजबूर किया जाता है।
पंचायत प्रतिनिधि ने दी कार्रवाई की आश्वासन
मुखिया प्रतिनिधि अविनाश रावत ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए कहा कि बच्चों को शुद्ध और स्वादिष्ट भोजन मिलना चाहिए। उन्होंने इस घटना की शिकायत जिला पदाधिकारी से करने का आश्वासन दिया। साथ ही उन्होंने स्कूल के मध्यान्ह भोजन की गुणवत्ता की जांच और सुधार की मांग उठाई।
ग्रामीणों में भारी आक्रोश
इस घटना से ग्रामीणों में भी गहरी नाराजगी देखी गई। बच्चों के अभिभावकों का कहना है कि जब शिक्षा और पोषण के बुनियादी अधिकारों में इस तरह की लापरवाही हो रही है, तो बच्चों का भविष्य कैसे सुरक्षित रहेगा।
वहीं, मुखिया प्रतिनिधि ने बच्चों को समझाकर मामले को फिलहाल शांत किया। लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि जिला प्रशासन से इस मामले में उचित कार्रवाई की मांग की जाएगी। साथ ही यह सुनिश्चित करने की कोशिश की जाएगी कि बच्चों को गुणवत्तापूर्ण भोजन और शिक्षा दोनों मिले।
स्कूल प्रशासन पर उठे सवाल
इस घटना ने प्राथमिक विद्यालय की प्रधान शिक्षिका चित्रलेखा देवी की भूमिका पर भी सवाल खड़े किए हैं। बच्चों की शिकायतों को नजरअंदाज करना और बदले में उन्हें डांटना न केवल गैरजिम्मेदाराना है, बल्कि बच्चों के अधिकारों का उल्लंघन भी है। यह मामला स्कूलों में मध्यान्ह भोजन की गुणवत्ता पर एक बार फिर सवालिया निशान खड़ा करता है और प्रशासनिक निगरानी की आवश्यकता को रेखांकित करता है।
Source : Agency