Thursday, 5 December

हर साल 20 अगस्त को विश्व मच्छर दिवस मनाया जाता है, जो मलेरिया के खिलाफ वैश्विक जागरूकता बढ़ाने का एक महत्वपूर्ण अवसर है। यह दिन 1897 में ब्रिटिश डॉक्टर सर रोनाल्ड रॉस की उस महत्वपूर्ण खोज की याद में मनाया जाता है, जिसमें उन्होंने साबित किया था कि मादा एनोफिलीज मच्छर ( Female Anopheles mosquitoes) मनुष्यों के बीच मलेरिया फैलाती है। यह खोज चिकित्सा विज्ञान में एक क्रांतिकारी बदलाव लेकर आई, क्योंकि इससे पहले मलेरिया के प्रसार को नियंत्रित करना अत्यंत कठिन था, भले ही कुनैन जैसी दवाओं की खोज हो चुकी थी। 19वीं सदी में दुनिया की लगभग आधी आबादी मलेरिया से गंभीर खतरे में थी।

सर रोनाल्ड रॉस की ऐतिहासिक खोज

20 अगस्त, 1897 को सर रोनाल्ड रॉस ने हैदराबाद की एक छोटी सी प्रयोगशाला में मादा एनोफिलीज मच्छर के पेट में मलेरिया परजीवी की खोज की थी। इस महत्वपूर्ण खोज ने चिकित्सा विज्ञान को हमेशा के लिए बदल दिया। उन्होंने यह साबित किया कि मलेरिया मच्छरों के माध्यम से फैलता है, जिससे इस बीमारी के खिलाफ लड़ाई में एक नया मोड़ आया। इसी कारण से 20 अगस्त को विश्व मच्छर दिवस के रूप में स्थापित किया गया, जो हर साल मच्छर जनित बीमारियों के खतरों और उनसे निपटने के प्रयासों के बारे में जागरूकता बढ़ाने का अवसर प्रदान करता है।

मच्छर जनित बीमारियों का खतरा और उनका प्रभाव

आज के समय में मच्छर जनित बीमारियाँ हर साल दस लाख से अधिक लोगों की जान लेती हैं और करीब 700 मिलियन लोगों को संक्रमित करती हैं। 2024 में, वर्ल्ड मॉस्किटो प्रोग्राम के अनुसार, 80 देशों में 11 मिलियन से अधिक डेंगू के मामले दर्ज किए गए हैं, जो इस बात का प्रमाण हैं कि डेंगू का प्रकोप लगातार बढ़ रहा है। साथ ही, चिकनगुनिया और ज़ीका वायरस भी तेजी से फैल रहे हैं, जिससे इन बीमारियों का खतरा और भी बढ़ गया है।

जलवायु परिवर्तन और बढ़ता खतरा

जलवायु परिवर्तन के कारण मच्छर जनित बीमारियों का प्रसार और भी तेज हो गया है, जिससे इन बीमारियों का खतरा दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। इसलिए, विश्व मच्छर दिवस का महत्व और भी अधिक हो गया है। यह दिन मच्छरों की आबादी को नियंत्रित करने, टीकाकरण और कीट विकर्षकों के उपयोग के बारे में जागरूकता बढ़ाने का अवसर प्रदान करता है। इसके माध्यम से, हम डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया जैसी खतरनाक बीमारियों के प्रसार को नियंत्रित कर सकते हैं।

2024 का विषय: मलेरिया के खिलाफ न्यायसंगत लड़ाई

2024 में विश्व मच्छर दिवस का विषय है ‘अधिक न्यायसंगत विश्व के लिए मलेरिया के विरुद्ध लड़ाई को तेज़ करना’। यह विषय मलेरिया की रोकथाम, पहचान और उपचार में विभिन्न क्षेत्रों के बीच के अंतर को पाटने की आवश्यकता पर जोर देता है। मलेरिया के जोखिमों के बारे में जागरूकता बढ़ाना और इसे रोकने के लिए आवश्यक कदम उठाना आज पहले से कहीं अधिक महत्वपूर्ण है।

यह दिन न केवल मच्छरों के खतरों से निपटने की दिशा में जागरूकता और कार्रवाई के लिए समर्पित है, बल्कि यह उन शोधकर्ताओं और वैज्ञानिकों के प्रयासों का सम्मान भी करता है, जो मच्छर जनित बीमारियों से मुक्त दुनिया बनाने के लिए निरंतर काम कर रहे हैं।

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